देश में कुल बैंक खातों में 39.2% हिस्सा महिलाओं के पास

खातों की कुल जमा में महिलाओं की हिस्सेदारी 39.7 फीसद ग्रामीण क्षेत्रों की महिलाएं ज्यादा खोल रही हैं अपने बैंक खाते

नई दिल्ली। देश में 39.2 प्रतिशत वैक खाते महिलाओं के पास है और ग्रामीण क्षेत्रों में यह अनुपात 42.2 प्रतिशत है। एक सरकारी रिपोर्ट से यह जानकारी मिली है।
सांख्यिकी और कार्यक्रम कार्यान्वयन मंत्रालय ने रविवार को ‘भारत में महिला और पुरुष 2024ः चयनित संकेतक और आंकड़े” शीर्षक से अपने प्रकाशन का 26वां संस्करण जारी किया। यह प्रकाशन भारत में लैगिक परिदृश्य का एक व्यापक अवलोकन प्रस्तुत करता है, जिसमें जनसंख्या, शिक्षा, स्वास्थ्य, आर्थिक भागीदारी और निर्णय लेने जैसे प्रमुख क्षेत्रों में चयनित संकेतक और आंकड़े प्रस्तुत किए गए है। ये आंकड़े विभिन्न मंत्रालयों, विभागों, संगठनों से प्राप्त किए गए है।

मंत्रालय के वयान के मुताविक रिपोर्ट में वताया गया है महिलाओं के पास सभी वैक खातों का 39.2 प्रतिशत हिस्सा है जवकि कुल जमा में उनका योगदान 39.7 प्रतिशत है। ग्रामीण क्षेत्रों में उनकी भागीदारी सवसे अधिक है,जहां कुल वैक खातों में उनका हिस्सा 42.2 प्रतिशत है। इस रिपोर्ट में कहा गया है कि पिछले कुछ वर्षों में डीमैट खातों में वृद्धि होना शेयर बाजार में लोगों की बढ़कर भागेदारी दर्शाती है।

31मार्च, २०२१ से ३नवंबर, 2024 तक डीमैट खातों की कुल संख्या चार गुना से अधिक होकर 3.32 करोड़ से वढ़कर 14.30 करोड़ हो गई है। पुरुष खातों की संख्या 2021 के 2.65 करोड़ से बढ़कर 2024 में 11.53 करोड़ हो गई, जबकि इसी अवधि के दौरान महिला खातों की संख्या 66.7 लाख से बढ़कर 2.77 करोड़ हो गई। वर्ष 2021-22, 2022-23 और 2023-24 के दौरान विनिर्माण, व्यापार और अन्य सेवा क्षेत्रों में महिलाओं की अगुवाई वाले प्रतिष्ठानों का प्रतिशत वढ़ता हुआ देखा गया है।

महिला मतदाता पंजीकरण में उल्लेखनीय वृद्धि हुई है। कुल मतदाताओं की संख्या 1952 के 17.32 करोड़ से बढ़कर 2024 में 97.8 करोड़ हो गई।
वर्षों से मतदान करने वाली महिलाओं की संख्या में भिन्नता रही है। यह 2019 में 67.2 प्रतिशत तक पहुंच गई, लेकिन 2024 में थोड़ी गिरावट के साथ 65.8 प्रतिशत रह गई। 2024 में मतदान करने वाली महिलाएं, पुरु षों से आगे निकल गईं। पिछले कुछ वर्षों में, डीपीआईआईटी द्वारा मान्यता प्राप्त ऐसी स्टार्टअप फर्मों की संख्या वढ़ी है, जिसमें कम से कम एक महिला निदेशक है।

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