डीएमएफ घोटाले में ईडी की छत्तीसगढ़ के रायपुर, दुर्ग-भिलाई, बिलासपुर और राजिम समेत 18 ठिकानों पर छापेमारी

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रायपुर। छत्तीसगढ़ के चर्चित डीएमएफ घोटाले में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने बुधवार सुबह रायपुर, दुर्ग-भिलाई, बिलासपुर और राजिम समेत कई शहरों में 18 ठिकानों पर छापेमारी की। अधिकारियों ने जानकारी दी है कृषि उपकरण सप्लाई के नाम पर 575 करोड़ रुपये के जिला खनिज निधि (डीएमएफ) घोटाले को लेकर यह कार्रवाई की गई है।यह छापेमारी धन शोधन निवारण अधिनियम के प्रावधानों के तहत की गई है।सूत्रों के मुताबिक, छत्तीसगढ़ बीज निगम के माध्यम से डीएमएफ निधि की बड़ी रकम का दुरुपयोग किया गया।

ईडी की टीम ने बुधवार सुबह से ही अपनी कार्रवाई शुरू की। राजधानी रायपुर के शंकर नगर में कारोबारी विनय गर्ग के आवास, स्वर्णभूमि कॉलोनी स्थित होटल व्यवसायी मनीदीप चावला के निवास तथा कृषि उपकरणों का कारोबार करने वाले राजेश अग्रवाल के घर ईडी ने दबिश दी। रायपुर के ला विस्टा कॉलोनी में ईडी ने कृषि व्यसाय से जुड़े कारोबारी पवन पोद्दार और सतपाल छाबड़ा के घर पर भी छापा मारा है।सर्च ऑपरेशन के दौरान इलेक्ट्रोनिक एविडेंस और दस्तावेजों को जब्त किया गया है।

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इनके अतिरिक्त दुर्ग जिले के पुरानी भिलाई वसुंधरा नगर और वैशाली नगर के शांति नगर में अन्ना भूमि ग्रीनटेक प्राइवेट लिमिटेड के डायरेक्टर शिवकुमार मोदी के घर तथा शांति नगर स्थित विवेकानंद कॉलोनी में रहने वाले आदित्य दिनोदिया के यहां भी ईडी की टीम ने दबिश दी है । अन्ना भूमि ग्रीनटेक प्राइवेट लिमिटेड कृषि और बुनियादी ढांचे के क्षेत्र में काम करती है। यह कंपनी ड्रिप सिंचाई प्रणाली, कांटेदार तार, चेन लिंक, आरसीसी बाड़ के खंभे, सौर पंप और कृषि उपकरण की सप्लाई का काम करती है।राजिम-महासमुंद मार्ग स्थित उगम राज कोठारी के घर और दुकान में भी ईडी का छापा पड़ा है। कारोबारी राज कृषि यंत्रों की सप्लाई का सरकारी ठेका लेता है।

ईडी के तथ्यों के मुताबिक टेंडर करने वाले संजय शिंदे, अशोक कुमार अग्रवाल, मुकेश कुमार अग्रवाल, ऋषभ सोनी और विचौलिए मनोज कुमार द्विवेदी, रवि शर्मा, पियूष सोनी, पियूष साहू, अब्दुल और शेखर नाम के लोगों के साथ मिलकर पैसे कमाए गए। इसकी पुष्टि रायपुर कोर्ट में एंटी करप्शन ब्यूरो (एसीबी) द्वारा पेश किए गए 6 हजार पेज के चालान से हुई है।

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