नई दिल्ली। दिल्ली विश्वविद्यालय में फर्जी अनुसूचित जनजाति (एसटी) प्रमाणपत्र के सहारे दाखिला लेने का मामला उजागर हुआ है। पुलिस थाना मौरिस नगर में एफआईआर (संख्या 0202) दर्ज की गई है।
आरोप है कि असम पुलिस सेवा की वरिष्ठ अधिकारी व हैलाकांडी की पुलिस अधीक्षक लीना डोले की पुत्री दिव्याना ए. लाहन ने अगस्त 2024 में हिन्दू कॉलेज और सेंट स्टीफन कॉलेज में दाखिला लेने के लिए वह एसटी प्रमाणपत्र इस्तेमाल किया, जिसे असम राज्य स्तरीय जांच समिति ने सितम्बर 2021 में रद्द कर दिया था।
शिकायतकर्ता अधिवक्ता स्वनित चौधरी ने कहा कि इस फर्जी प्रवेश से एक वास्तविक आदिवासी अभ्यर्थी का हक छीना गया। उन्होंने यह मामला राष्ट्रीय अनुसूचित जनजाति आयोग के समक्ष भी उठाया। शिकायत में कहा गया कि यह कार्य दिव्याना और उनकी मां लीना डोले की “साझा आपराधिक मंशा” से हुआ।
एफआईआर धारा 318(4) भारतीय न्याय संहिता और 3(1)(q) एससी/एसटी अत्याचार निवारण अधिनियम, 1989 के तहत दर्ज हुई है।
एफआईआर में स्कूल रिकॉर्ड, रद्द प्रमाणपत्र, न्यायालय के आदेश और सोशल मीडिया पोस्ट जैसे दस्तावेज साक्ष्य के तौर पर सामने रखे गए हैं। मामले की जांच एसीपी डीआईयू/नॉर्थ दिल्ली को सौंपी गई है।
रवि प्रकाश VS बाबू लाल सिंह परमार (2007) फैसले का हवाला देते हुए शिकायत में कहा गया है कि फर्जी प्रमाणपत्र का उपयोग संविधान और वास्तविक लाभार्थियों के अधिकारों के साथ गहरा छल है। अब पुलिस मामले की विस्तृत जांच कर रही है।
