मैं भगोडा नहीं हूँ , अरुण जेटली को बताकर ही गया था जेनेवा : विजय माल्या

शराब कारोबारी ने पॉडकास्ट में किए बड़े खुलासे, किंगदिशर एयरलाइंस की नाकामी पर पहली बार मांगी मािी

नई दिल्ली | भगोड़े शराब कारोबारी विजय माल्या एक बार फिर भारत में चर्चा में हैं। उन्होंने हाल ही में यूट्यूबर राज शमानी के पॉडकास्ट में माल्या ने कई बड़े दावे किए हैं। उन्होंने कहा कि जब मैं भारत छोड़ रहा था तब मैंने वित्त मंत्री (तत्कालीन) अरुण जेटली को बताया कि मैं लंदन जा रहा हूं। मुझे जेनेवा में एक मीटिंग में शामिल होना है। मैं वापस आऊंगा। कृपया बैंकों से कहें वो मेरे साथ बैठकर सेटलमेंट कर लें। माल्या ने कहा कि उन्होंने ये दावा कभी नहीं किया कि उन्होंने अरुण जेटली के साथ बैठकर मुलाक़ात की। ये सब बातें उन्होंने संसद में चलते-फिरते हुई मुलाक़ात में कही हैं। उन्होंने कहा कि मैंने लौटने का वादा किया था, लेकिन पासपोर्ट निरस्त कर दिया, जिसके कारण वो वापस नहीं आ पाए।

माल्या ने खुद को चोर कहे जाने पर कहा कि मुझे भगोड़ा कह रहे हैं, लेकिन मैं भागा नहीं। मैं तय कार्यक्रम के तहत विदेश गया और वापस नहीं आया, क्योंकि मेरे पास सही वजहें थीं। लेकिन मुझे चोर’ क्यों कहा जा रहा है? चोरी कहां हुई? इससे पहले साल 2018 में भी माल्या भारत छोड़ने से पहले अरुण जेटली से मिलनेका दावा कर चुके हैं। हालांकि, उस वक्त अरुण जेटली ने उनके दावे को ख़ारिज कर दिया था। वहीं, उन्होंने किंगफिशर एयरलाइंस की नाकामी पर पहली बार सार्वजनिक माफी मांगी है। उन्होंने कहा मैं किंगफिशर एयरलाइंस की विफलता के लिए सभी से माफी मांगता हूं। विजय माल्या का यह पॉडकास्ट 4 घंटे लंबा है जिसे शुक्रवार को रिलीज किया गया है।

सम्मानपूर्वक रहने का भरोसा देंगे तो वापसी को तैयार
राज शमानी ने विजय माल्या सपे पूछा कि क्या आपको यह नहीं लगता कि भारत वापस नहीं लौटने की वजह से चीज़ें और भी ख़राब हो गईं? इस सवाल पर माल्या ने कहा अगर मुझे फेयर ट्रायल और सम्मानपूर्वक रहने को लेकर भरोसा दिया जाए तो मैं इसके बारे में गंभीरता से सोचूंगा. लेकिन आपको ये भी पता होना चाहिए कि ऐसे कुछ अन्य लोग भी हैं जिन्हें भारत सरकार ब्रिटेन से प्रत्यर्पण करने को लेकर टारगेट कर रही है । माल्या ने कहा कि ऐसे कई उदाहरण हैं।

उन्होंने किसी का नाम नहीं लेते हुए कहा कि एक मामले में हाई कोर्ट का फैसला आया कि भारत ने प्रत्यर्पण की जो शर्तें रखी हैं वो नियमों का उल्लंघन करती हैं। इसलिए प्रत्यर्पण नहीं हो सकता। यह याचिका बिना किसी ट्रायल के लंबे समय तक के प्रत्यर्पण के लिए थी. ऐसे कई उदाहरण हैं। माल्या से पूछा गया कि अगर उन्हें भारत प्रत्यर्पित किया जाता है तो उनकी शर्तें क्या होंगी? इस पर उन्होंनपे कहा, “यह वकीलों के चर्चा का विषय है , लेकिन सीबीआई और ईडी जिस तरह से काम करती है
और उनका जिस तरह का ट्रैक रिकॉर्ड है, उससे ज़्यादा भरोसा नहीं होता।

पूर्व राष्ट्रपति प्रणव मुखर्जी ने दी गलत सलाह
माल्या ने पूर्व राष्ट्रपति प्रणव मुखर्जी पर भी आरोप लगाया कि जब उनकी कंपनी की स्थिति खराब थी, तब वह वित्त मंत्री थे , उन्होंने सलाह दी थी कि किंगफिशरएयरलाइंस को कम उड़ानें संचालित करनी चाहिए और कर्मचारियों की संख्या घटानी चाहिए। माल्या ने कहा कि मुझपे काम करने से मना किया गया। कहा कि बैंक मदद करेगा। इस दौरान किंगफिशर एयरलाइंस को अपनी सभी उड़ानें रद्द करनी पड़ीं। जब मैंने लोन मांगा, तब कंपनी का प्रदर्शनअच्छा नहीं था, इसलिए लोन नहीं मिला।

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